आँखों से बह गये मेरे!
पानी की तरह ही कुछ!
वो मेरे अहसास थे!
दर्द थे!गम थे!क्या थे?
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"सपने वो नहीं जो नींद में देंखें,सपने वो हैं जो आपको नींद न आने दें - ए० पी०जे०अब्दुल कलाम "
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